पटना: नहाय-खाय के साथ शुरू होने वाले लोक आस्था के महापर्वछठ के शुरू होने में अब केवल दो दिन शेष रह गए हैं। जिला प्रशासन ने बुधवार को गंगा की स्थिति और जलस्तर के आधार पर छह खतरनाक और पांच अनुपयुक्त घाटों की सूची जारी की है। श्रद्धालुओं और श्रद्धालुओं से आग्रह किया गया है कि वे इन घाटों का उपयोग जल भरने या अर्घ्य चढ़ाने के लिए न करें। प्रशासन ने जनता से अपील की है कि वेकेवल अधिकृत और सुरक्षित घाटों पर ही छठपूजा करें और हर हाल में खतरनाक या अनुपयुक्त घाटों पर जाने से बचें।
जिला प्रशासन का निर्देश
जिला प्रशासन के अनुसार, इन घाटों को तेज पानी की धाराओं, फिसलन भरे किनारों या अत्यधिक गहराई के कारण खतरनाक घोषित किया गया है। इन जगहों पर जाना जानलेवा हो सकता है। जिन पांच घाटों को अनुपयुक्त घोषित किया गया है, उनमें पानी का स्तर बहुत कम है और कीचड़ व दलदल बहुत ज्यादा है, जिससे अर्घ्य देना असंभव और असुरक्षित है। राजधानी के दो प्रमुख छठ घाटों, कलेक्ट्रेट और महेंद्रू , तक पहुंचने वाले रास्ते अभी भी जलमग्न हैं। इसे देखते हुए, प्रशासन कलेक्ट्रेट घाट सेमहेंद्रू घाट तक एक वैकल्पिक मार्ग तैयार कर रहा है। लोग अपने वाहन गांधी मैदान में पार्क कर सकेंगे और किसी भी घाट पर जाकर अर्घ्य दे सकेंगे।
घाटों की सूची
इस बीच, एलसीटी घाट की सुरक्षा पर अभी अंतिम निर्णय नहीं लिया गया है क्योंकि नदी के कटाव और गहराई का आकलन किया जा रहा है। इस घाट पर तालाब बनाकर वैकल्पिक व्यवस्था की जा रही है। यह घाट सुरक्षित है या खतरनाक, इस पर एक-दो दिन में फैसला हो जाएगा। प्रतिबंधित घाटों की सूची में कंटाही घाट, राजापुर पुल घाट, पहलवान घाट, बांस घाट, बुद्ध घाट और नया पंचमुखी चौराहा घाट शामिल है। जिन घाटों को अनुपयुक्त घोषित किया गया है। उसमें टीएन बनर्जी घाट, मिश्री घाट, जजेज घाट, अदालत घाट, गुलबी घाट का नाम शामिल है।
प्रशासन ने जारी किए नंबर
छठ पर्व को शांतिपूर्ण एवं सुरक्षित तरीके से संपन्न करानेके लिए प्रमंडलीय आयुक्त अनिमेष पराशर, जिलाधिकारी डॉ. त्यागराजनएस.एम. एवं नगर आयुक्त यशपाल मीणा लगातार हर घाट का निरीक्षण कर रहे हैं। एसडीओ और एसडीपीओ को हर घाट तक पहुंचने वाले रास्तों पर पैदल गश्त करने और सभी कमियों को दूर करने के निर्देश दिए गए हैं। सुरक्षा, पार्किंग और प्रकाश व्यवस्था को सर्वोच्च प्राथमिकता देते हुए सभी बुनियादी व्यवस्था सुनिश्चित की जा रही हैं। बुधवार को राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण ने श्रद्धालुओं की सुरक्षा के लिए दिशा निर्देश जारी किए। पटना जिला प्रशासन ने भी सभी छठव्रतियों से सुरक्षा संबंधी सलाह का पालन करने की अपील की है।
इन नंबरों पर करें संपर्क
आपात स्थिति या आवश्यक जानकारी के लिए निम्नलिखित नंबर जारी किए गए हैं: जिसमें जिला नियंत्रण कक्ष: 0612-2219810, 0612-2219234, या 112 डायल करना होगा। उसके अलावा राज्य आपदा प्रबंधन (टोल-फ्री): 1070 पर डायल कर सकते हैं। उसके अलावा राज्य आपदा प्रबंधन (अन्य): 7070290170, 0612-2294204, या 0612-2294205 नंबर इस प्रकार हैं। घाटों पर लगे बैरिकेड्स को पार न करें और खतरनाक या गहरे पानी वाले घाटों से सुरक्षित दूरी बनाए रखें। पूजा स्थलों पर आतिशबाजी से बचें। घाटों पर साफ-सफाई बनाए रखें और कूड़ा न फैलाएं। प्रशासन ने श्रद्धालुओं से अनुरोध किया है कि वे व्यवस्थाओं में सहयोग करें तथा किसी भी आपात स्थिति में तुरंत हेल्पलाइन पर संपर्क करें। केवल निर्धारित मार्गों का उपयोग करें और वाहनों को केवल निर्दिष्ट पार्किंग क्षेत्रों में ही पार्क करें। सुनिश्चित करें कि बुजुर्ग लोगों, विकलांग व्यक्तियों और छोटे बच्चों की जेब में उनके घर का पता और फोन नंबर हो। अफवाहों को न फैलाएं और न ही उन पर विश्वास करें।
जिला प्रशासन का निर्देश
जिला प्रशासन के अनुसार, इन घाटों को तेज पानी की धाराओं, फिसलन भरे किनारों या अत्यधिक गहराई के कारण खतरनाक घोषित किया गया है। इन जगहों पर जाना जानलेवा हो सकता है। जिन पांच घाटों को अनुपयुक्त घोषित किया गया है, उनमें पानी का स्तर बहुत कम है और कीचड़ व दलदल बहुत ज्यादा है, जिससे अर्घ्य देना असंभव और असुरक्षित है। राजधानी के दो प्रमुख छठ घाटों, कलेक्ट्रेट और महेंद्रू , तक पहुंचने वाले रास्ते अभी भी जलमग्न हैं। इसे देखते हुए, प्रशासन कलेक्ट्रेट घाट सेमहेंद्रू घाट तक एक वैकल्पिक मार्ग तैयार कर रहा है। लोग अपने वाहन गांधी मैदान में पार्क कर सकेंगे और किसी भी घाट पर जाकर अर्घ्य दे सकेंगे।
घाटों की सूची
इस बीच, एलसीटी घाट की सुरक्षा पर अभी अंतिम निर्णय नहीं लिया गया है क्योंकि नदी के कटाव और गहराई का आकलन किया जा रहा है। इस घाट पर तालाब बनाकर वैकल्पिक व्यवस्था की जा रही है। यह घाट सुरक्षित है या खतरनाक, इस पर एक-दो दिन में फैसला हो जाएगा। प्रतिबंधित घाटों की सूची में कंटाही घाट, राजापुर पुल घाट, पहलवान घाट, बांस घाट, बुद्ध घाट और नया पंचमुखी चौराहा घाट शामिल है। जिन घाटों को अनुपयुक्त घोषित किया गया है। उसमें टीएन बनर्जी घाट, मिश्री घाट, जजेज घाट, अदालत घाट, गुलबी घाट का नाम शामिल है।
प्रशासन ने जारी किए नंबर
छठ पर्व को शांतिपूर्ण एवं सुरक्षित तरीके से संपन्न करानेके लिए प्रमंडलीय आयुक्त अनिमेष पराशर, जिलाधिकारी डॉ. त्यागराजनएस.एम. एवं नगर आयुक्त यशपाल मीणा लगातार हर घाट का निरीक्षण कर रहे हैं। एसडीओ और एसडीपीओ को हर घाट तक पहुंचने वाले रास्तों पर पैदल गश्त करने और सभी कमियों को दूर करने के निर्देश दिए गए हैं। सुरक्षा, पार्किंग और प्रकाश व्यवस्था को सर्वोच्च प्राथमिकता देते हुए सभी बुनियादी व्यवस्था सुनिश्चित की जा रही हैं। बुधवार को राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण ने श्रद्धालुओं की सुरक्षा के लिए दिशा निर्देश जारी किए। पटना जिला प्रशासन ने भी सभी छठव्रतियों से सुरक्षा संबंधी सलाह का पालन करने की अपील की है।
इन नंबरों पर करें संपर्क
आपात स्थिति या आवश्यक जानकारी के लिए निम्नलिखित नंबर जारी किए गए हैं: जिसमें जिला नियंत्रण कक्ष: 0612-2219810, 0612-2219234, या 112 डायल करना होगा। उसके अलावा राज्य आपदा प्रबंधन (टोल-फ्री): 1070 पर डायल कर सकते हैं। उसके अलावा राज्य आपदा प्रबंधन (अन्य): 7070290170, 0612-2294204, या 0612-2294205 नंबर इस प्रकार हैं। घाटों पर लगे बैरिकेड्स को पार न करें और खतरनाक या गहरे पानी वाले घाटों से सुरक्षित दूरी बनाए रखें। पूजा स्थलों पर आतिशबाजी से बचें। घाटों पर साफ-सफाई बनाए रखें और कूड़ा न फैलाएं। प्रशासन ने श्रद्धालुओं से अनुरोध किया है कि वे व्यवस्थाओं में सहयोग करें तथा किसी भी आपात स्थिति में तुरंत हेल्पलाइन पर संपर्क करें। केवल निर्धारित मार्गों का उपयोग करें और वाहनों को केवल निर्दिष्ट पार्किंग क्षेत्रों में ही पार्क करें। सुनिश्चित करें कि बुजुर्ग लोगों, विकलांग व्यक्तियों और छोटे बच्चों की जेब में उनके घर का पता और फोन नंबर हो। अफवाहों को न फैलाएं और न ही उन पर विश्वास करें।
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