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गाजा संघर्ष में अमेरिका की मध्यस्थता: युद्धविराम प्रस्ताव पर हमास की प्रतिक्रिया

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संघर्ष को समाप्त करने की दिशा में अमेरिका का प्रयास

गाजा में चल रहे संघर्ष को समाप्त करने के लिए अमेरिका ने एक महत्वपूर्ण कदम उठाया है। हमास ने शनिवार को डोनाल्ड ट्रंप के मध्य पूर्व दूत स्टीव विटकॉफ द्वारा प्रस्तुत युद्धविराम प्रस्ताव पर अपनी प्रतिक्रिया दी। यह प्रस्ताव मार्च के बाद युद्धविराम की दिशा में सबसे ठोस प्रगति का संकेत है। हमास ने कहा कि वह इस समझौते के तहत 10 जीवित बंधकों और 18 मृतकों के शवों को रिहा करेगा, जबकि इसके बदले में इजरायल को फिलिस्तीनी कैदियों को रिहा करना होगा.


हमास की शर्तें और प्रस्ताव का अध्ययन

हमास ने अपने बयान में कहा कि वह विटकॉफ के प्रस्ताव का गहराई से अध्ययन कर रहा है और उसने मध्यस्थों को अपना जवाब सौंप दिया है। इस जवाब में हमास ने युद्ध को समाप्त करने की मांग को शामिल किया है, जो पहले इजरायल के लिए अस्वीकार्य शर्त रही है। हमास का कहना है कि समझौते में गाजा में स्थायी शांति, इजरायली सैनिकों की पूर्ण वापसी और मानवीय सहायता की आपूर्ति सुनिश्चित होनी चाहिए.


युद्धविराम प्रस्ताव की मुख्य बातें

युद्धविराम प्रस्ताव की मुख्य बातें

अमेरिका द्वारा प्रस्तुत यह समझौता 60 दिनों के युद्धविराम का प्रस्ताव करता है। इसके तहत हमास 10 जीवित बंधकों और 18 मृतकों के शवों को रिहा करेगा, जबकि इजरायल 1,100 फिलिस्तीनी कैदियों को रिहा करेगा। प्रस्ताव में यह भी कहा गया है कि इस अवधि में स्थायी शांति के लिए बातचीत तेज की जाएगी, और इजरायल को यह गारंटी देनी होगी कि वह हमास द्वारा बंधकों की रिहाई के बाद हमले फिर से शुरू नहीं करेगा, जैसा कि मार्च में हुआ था.


इजरायल की सहमति और हमास की शर्तें

इजरायल की सहमति, हमास की सशर्त प्रतिक्रिया

इजरायली वार्ताकारों ने इस प्रस्ताव को स्वीकार कर लिया है, लेकिन हमास की शुरुआती प्रतिक्रिया ठंडी रही। शुक्रवार को हमास ने कहा कि वह अन्य फिलिस्तीनी गुटों के साथ इस प्रस्ताव पर चर्चा कर रहा है। हमास ने स्पष्ट किया कि वह केवल तभी समझौते को स्वीकार करेगा, जब इसमें युद्ध की समाप्ति और इजरायली सैनिकों की गाजा से पूर्ण वापसी की गारंटी हो. इसके अलावा, हमास ने 1,000 मानवीय सहायता ट्रकों की दैनिक आपूर्ति की मांग भी की है.


अमेरिका की भूमिका और ट्रंप का दबाव

अमेरिका की भूमिका और ट्रंप का दबाव

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के दूत स्टीव विटकॉफ इस समझौते को आगे बढ़ाने के लिए सक्रिय रूप से काम कर रहे हैं। ट्रंप ने हमास को चेतावनी दी है कि अगर बंधक उनकी उद्घाटन तिथि 20 जनवरी तक रिहा नहीं किए गए, तो "मध्य पूर्व में भारी तबाही" होगी। विटकॉफ ने कतर की राजधानी दोहा में इजरायल और हमास के बीच मध्यस्थता कर रहे कतर और मिस्र के साथ मिलकर इस प्रस्ताव को तैयार किया है.


गाजा में मानवीय संकट

गाजा में मानवीय संकट

गाजा में मानवीय स्थिति बेहद गंभीर बनी हुई है। इजरायल की सैन्य कार्रवाइयों और नाकाबंदी के कारण वहां भोजन, ईंधन और अन्य आवश्यक वस्तुओं की भारी कमी है। हमास ने मांग की है कि युद्धविराम के साथ-साथ गाजा में मानवीय सहायता की आपूर्ति बढ़ाई जाए। संयुक्त राष्ट्र और रेड क्रिसेंट जैसे संगठनों को सहायता वितरण का जिम्मा सौंपा जाएगा.


चुनौतियां और भविष्य

चुनौतियां और भविष्य

हालांकि यह प्रस्ताव दोनों पक्षों के बीच तनाव कम करने की दिशा में एक कदम है, लेकिन कई चुनौतियां बाकी हैं। इजरायल हमास के नेतृत्व को खत्म करने और गाजा में उसका नियंत्रण समाप्त करने की मांग कर रहा है, जबकि हमास स्थायी युद्धविराम और सैन्य वापसी पर अड़ा है। इसके अलावा, बंधकों की रिहाई का समय और तरीका भी विवाद का विषय है। इजरायल चाहता है कि सभी जीवित बंधक पहले दिन रिहा हों, जबकि हमास चरणबद्ध रिहाई की बात कर रहा है.


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